कक्षा 4 हिंदी व्याकरण अध्याय 2 वर्ण वर्णमाला और मात्रा
एनसीईआरटी समाधान कक्षा 4 हिंदी व्याकरण पाठ 2 वर्ण, वर्णमाला और मात्रा से संबंधित विवरण सीबीएसई सत्र 2024-25 के लिए यहाँ से मुफ़्त प्राप्त किए जा सकते हैं। राजकीय बोर्ड के विद्यार्थी भी कक्षा 4 के लिए व्याकरण पठन सामग्री का लाभ उठा सकते हैं। हिंदी ग्रामर के अध्याय 2 में वर्ण और अक्षर तथा मात्राओं के बारे में सभी आधारभूत बातों को बताया गया है। अभ्यास के प्रश्नों को हल करके छात्र अपने ज्ञान को और अच्छा बना सकते हैं।
कक्षा 4 के लिए हिंदी व्याकरण अध्याय 2 वर्ण, वर्णमाला और मात्रा
एनसीईआरटी समाधान कक्षा 4 हिंदी व्याकरण पाठ 2 वर्ण, वर्णमाला और मात्रा
वर्ण
भाषा की सबसे छोटी ध्वनि को वर्ण कहते हैं।
जब हम बोलते हैं तो हमारे मुख से कुछ ध्वनियाँ निकलती हैं। शेर को देखते ही लड़की बोली शेर! ‘शेर’ शब्द में कितनी ध्वनियाँ हैं? आप कह सकते हैं कि ‘शेर’ शब्द में केवल दो ध्वनियाँ हैं ‘शे’ और ‘रे’। लेकिन बच्चों, हम ‘शे’ और ‘र’ ध्वनियों के और भी टुकड़े कर सकते हैं। जैसे:
श् + ए = शेर + अ = र
इस प्रकार ‘शेर’ शब्द बोलते समय हम चार ध्वनियाँ बोलते हैं श् + ए; र् + अ।
क्या इन ध्वनियों के और टुकड़े हो सकते हैं?
नहीं, इनके और टुकड़े नहीं किए जा सकते। ये सबसे छोटी ध्वनियाँ हैं।
वर्ण को अक्षर भी कहते हैं। जिसका अर्थ है, ऐसी ध्वनि जिसके और टुकड़े नहीं किए जा सकते।
वर्ण के भाग
हिंदी के वर्णों को दो भागों में बाँटा गया है:
1. स्वर
2. व्यंजन
स्वर:
जिन ध्वनियों का उच्चारण बिना किसी अन्य वर्ण की सहायता से की जाए, उन्हें स्वर कहते हैं। हिंदी में 11 स्वर हैं।
अ आ इ ई उ ऊ ऋ ए ओ औ
व्यंजन
जिन ध्वनियों का उच्चारण स्वरों की सहायता से होती है उन्हें व्यंजन कहते हैं। हिंदी में 33 व्यंजन हैं।
क ख ग घ ङ
च छ ज झ अ
ट ठ ड ढ़ ण
त थ द धा न
प ब भ म
य र ल व श स ह
सभी व्यंजनों में ‘अ’ की ध्वनि मिली होती है।
जब कोई व्यंजन बिना किसी स्वर के लिखा जाता है तो उसके नीचे एक तिरछी रेखा (्) लगाते हैं। इसे हल चिह्न कहा जाता हैं। जैसे: क्, च्, र् आदि।
सयुंक्त वर्ण
इनके अतिरिक्त भी कुछ वर्ण हैं:
क्ष, त्र, ज्ञ, और श्र ये संयुक्ताक्षर हैं। ये दो व्यंजनों के मेल से बने हैं।
विशेष वर्ण
ड़ और ढ़: पेड़, सड़क, पढ़ना, चढ़ना आदि।
ज़ और फ़: ये ज और फ के नीचे बिंदी लगाकर बनाए जाते हैं। जैसे बाज़ार, कुलफ़ी।
वर्णमाला
स्वरों और व्यंजनो को मिलाकर हिंदी की वर्णमाला बनती है। वर्णमाला में सारे वर्ण एक निश्चित क्रम में लिखे जाते हैं।
वर्णों के व्यवस्थित समूह को वर्णमाला कहते हैं।
मात्राएँ
हिंदी में स्वर दो प्रकार से लिखे जाते हैं:
(क) अपने मूल रूप में जैसे अ, आ, इ, ई, ऊ, ऋ, ए, ऐ, ओ, औ।
(ख) किसी व्यंजन के साथ मिलाकर
घ् + आ =घा, च् + इ = चि, ज् + ई = जी, त् + उ = तु आदि।
स्वरों को व्यंजनों के साथ लिखते समय स्वर पूरे नहीं लिखे जाते, बल्कि इनके चिह्न व्यंजनों के साथ लिखे जाते हैं। स्वरों के चिह्न ही मात्रा कहलाते हैं।
विशेष:
‘र’ के साथ ‘उ’ और ‘ऊ’ की मात्र उसवेळ नीचे नहीं लगती बल्कि उसवेळ सामने इस प्रकार लगती है। जैसे र् + उ = रू = रूकना, गुरू, रूचि र् + ऊ = रू = रूठना, शुरू, रूप
‘अ’ के अतिरिक्त सभी स्वरों की मात्राएँ होती हैं।
कुछ अन्य चिह्न भी व्यंजनों के साथ जोडे़ जाते हैं
‘अ’ के अतिरिक्त सभी स्वरों की मात्राएँ होती हैं।
कुछ अन्य चिह्न भी व्यंजनों के साथ जोडे़ जाते हैं
(क) अं इसे अनुस्वार कहते हैं। इसका चिह्न (ं) है।
जैसे अंडा, पतंग, कंघी, गंगा, अंगूर, आदि।
(ख) अँं इसे अनुनासिक कहते हैं। इसका चिह्न ( ँ) है।
जैसे: कुआँ, पाँव, गाँव, चाँद, आँख, आँगन, आदि।
(ग) अ: इसे विसर्ग कहते हैं। इसका चिह्न (:) है।
जैसे: अत:, पुन:, प्रात: आदि।
अनुस्वार
पंचम वर्णों के स्थान पर अब अनुस्वार का प्रयोग होने लगा है। यदि किसी वर्ण पर शिरोरेखा के ऊपर कोई मात्रा लगी है तो अनुनासिक (चंद्बिंदु) के स्थान पर अनुस्वार लगाया जाता है।
सही उत्तर छांटकर लिखिए:
व्यंजनों का उच्चारण करते समय ______ की सहायता ली जाती है।
रिक्त स्थानों को भरिए:
(क) भाषा की सबसे ________ ध्वनि को _____ कहते हैं। (बड़ी/छोटी) (शब्द/वर्ण)
(ख) हिंदी के वर्णों को ________ वर्गों में बाँटा गया है। (दो/तीन)
(ग) जिन ध्वनियों का उच्चारण बिना किसी अन्य वर्ण की सहायता से की जाती है, उन्हें ____ कहते हैं। (स्वर/व्यंजन)
(घ) हिंदी में स्वर ______ हैं। (तेरह/ग्यारह)
(ङ) वर्णों के व्यवस्थित समूह को ________ कहते हैं। (शब्दमाला/वर्णमाला)
(च) सभी व्यंजनों में ______ की ध्वनि मिली होती है। (स/अ)
उत्तर:
(क) छोटी, वर्ण
(ख) दो
(ग) स्वर
(घ) ग्यारह
(ङ) वर्णमाला
(च) अ