कक्षा 7 विज्ञान अध्याय 7 एनसीईआरटी समाधान – जंतुओं और पादप में परिवहन

कक्षा 7 विज्ञान अध्याय 7 जंतुओं और पादप में परिवहन एनसीईआरटी समाधान – सलूशन हिंदी और अंग्रेजी माध्यम में सभी प्रश्न उत्तर तथा अभ्यास पर आधारित नोट्स और अध्ययन सामाग्री छात्र यहाँ से प्राप्त कर सकते हैं। यहाँ कक्षा 7 विज्ञान की एनसीईआरटी किताब के अध्याय 7 के लिए अतिरिक्त प्रश्न उत्तर तथा पठन सामाग्री दी गई है। क्लास 7 साइन्स के सलूशन विद्यार्थी कक्षा 7 विज्ञान ऐप से भी प्राप्त कर सकते हैं। सातवीं विज्ञान के समाधान को सीबीएसई शैक्षणिक सत्र 2024-25 के लिए पुनः संशोधित किया गया है।

हमारे शरीर का परिसंचरण तंत्र क्या कार्य करता है?

सभी जीवों को जीवित रहने के लिए भोजन, जल और ऑक्सीजन की आवश्यकता होती है। इन सभी पदार्थों का शरीर के विभिन्न अंगों तक पहुँचना बहुत जरूरी होता है। अपशिष्ट पदार्थों का परिवहन उस स्थान तक करना होता है, जहाँ से उन्हें बाहर निकाला जा सके। हृदय और रक्त वाहिनियाँ संयुक्त रूप से हमारे शरीर का परिसंचरण तंत्र बनाती हैं।

कक्षा 7 विज्ञान अध्याय 7 के कुछ महत्वपूर्ण प्रश्न उत्तर

पादपों अथवा जंतुओं में पदार्थों का परिवहन क्यों आवश्यक है? समझाइए।

पौधों और जानवरों के विभिन्न अंगों की कोशिकाओं को कार्य करने के लिए विभिन्न आवश्यक पदार्थों की आवश्यकता होती है। इन कार्यों के दौरान विभिन्न प्रकार के उपयोगी तथा अपशिष्ट उत्पाद बनाए जाते हैं। इन आवश्यक पदार्थों की आपूर्ति करने और अपशिष्ट उत्पादों को हटाने के लिए सामग्रियों का परिवहन आवश्यक है।

क्या होगा यदि रक्त में पट्टिकाणु नहीं होंगे?

पट्टिकाणु रक्त के थक्के के लिए उत्तरदायी होते हैं। यदि पट्टिकाणु नहीं हैं, तो चोट लगने पर खून का बहना नहीं रुकेगा। इससे शरीर में रक्त कमी हो जाएगी और अंत में व्यक्ति की मृत्यु हो जाएगी।

रंध्र क्या हैं? रंध्रों के दो कार्य बताइए।

पत्ती की सतह के नीचे के कई छिद्रों को रंध्र कहा जाता है। गैसों (कार्बन डाइऑक्साइड और ऑक्सीजन) का विनिमय तथा वाष्पोत्सर्जन रंध्र के मुख्य कार्य हैं।

क्या वाष्पोत्सर्जन पादपों में कोई उपयोगी कार्य करता है?

वाष्पोत्सर्जन पौधों में बहुत महत्वपूर्ण कार्य करता है। वाष्पोत्सर्जन से वाष्पोत्सर्जन खिंचाव पैदा होता है, जो कि लम्बे पौधों और अन्य पेड़ों में पानी के ऊपर चढ़ने के लिए उत्तरदायी है।

रक्त के घटकों के नाम बताइए।

रक्त एक तरल है, जिसमें विभिन्न प्रकार की कोशिकाएँ होती हैं। रक्त के मुख्य घटक निम्नलिखित हैं:

    1. प्लाज़्मा: रक्त के तरल भाग को प्लाज़्मा कहा जाता है।
    2. लाल रक्त कोशिकाएँ: ये लाल रक्त कोशिकाएँ (RBC) विशेष प्रकार की होती हैं जिनमें हीमोग्लोबिन नामक एक लाल वर्णक होता है।
    3. सफेद रक्त कोशिकाएँ: रक्त में सफेद रक्त कोशिकाएँ (WBC) भी होती हैं। ये उन कीटाणुओं से लड़ती हैं जो हमारे शरीर में प्रवेश करने की कोशिश करते हैं।
    4. पट्टिकाणु: पट्टिकाणु रक्त में थक्का बनाने का कार्य करते हैं।
शरीर के सभी अंगों को रक्त की आवश्यकता क्यों होती है?

शरीर के प्रत्येक भाग को अपने कार्य करने के लिए कुछ पदार्थों की आवश्यकता होती है। इसके अतिरिक्त, हर भाग कुछ अपशिष्ट उत्पाद भी बनाता है, जिसे हटाने की आवश्यकता होती है। रक्त पचे हुए भोजन को छोटी आंत से शरीर के अन्य भागों तक पहुँचता है। यह फेफड़ों से ऑक्सीजन को शरीर की विभिन्न कोशिकाओं तक पहुंचाता है। यह शरीर से निष्कासन के लिए अपशिष्ट पदार्थों का परिवहन भी करता है। इस प्रकार यह विभिन्न पदार्थों के वाहक के रूप में कार्य करता है। अतः विभिन्न पदार्थों की आपूर्ति के लिए और अपशिष्ट पदार्थों के निष्कासन के लिए शरीर के सभी हिस्सों को रक्त की आवश्यकता होती है।

रक्त लाल रंग का क्यों दिखाई देता है?

लाल रक्त कोशिकाओं (RBC) में हीमोग्लोबिन नामक एक लाल वर्णक होता है। जिसकी उपस्थिति से रक्त लाल दिखाई देता है।

ह्रदय के कार्य बताइए।

हृदय एक पंप के रूप में कार्य करता है। यह लगातार धड़कता रहता है। इससे शरीर में रक्त का परिवहन लगातार होता रहता है। रक्त अपने साथ अन्य उपयोगी पदार्थों को भी शरीर के विभिन्न भागों तक ले जाता है। ह्रदय फेफड़ों को ऑक्सीजन रहित रक्त भेजता है और फेफड़ों से ऑक्सीजन युक्त रक्त प्राप्त करता है। यह रक्त के माध्यम से शरीर के विभिन्न हिस्सों में ऑक्सीजन की आपूर्ति करता है।

शरीर द्वारा अपशिष्ट पदार्थों को उत्सर्जित करना क्यों आवश्यक है?

जब शरीर की विभिन्न कोशिकाएँ अपने कार्य करती हैं, तो कुछ अपशिष्ट पदार्थ भी बन जाते हैं। ये हमारे शरीर के लिए विषैले होते हैं। इसलिए शरीर द्वारा इन पदार्थों को उत्सर्जित करना आवश्यक है।

कक्षा 7 विज्ञान अध्याय 7 के प्रश्न उत्तर विस्तार से

कक्षा 7 विज्ञान अध्याय 7 के लिए मुख्य प्रश्न उत्तर

रक्त का रंग लाल क्यों होता है?

रक्त में एक प्रकार की कोशिकाएँ, लाल रक्त कोशिकाएँ होती हैं, जिनमें एक लाल वर्णक जिसे (हीमोग्लोबिन) होता है। इसी वर्णक के कारण रक्त का रंग लाल होता है। हीमोग्लोबिन ऑक्सीजन को अपने साथ संयुक्त करके शरीर के सभी अंगों में और अंतत: सभी कोशिकाओं तक पहुँचाता है। हीमोग्लोबिन के अभाव में शरीर की सभी कोशिकाओं को कुशलतापूर्वक ऑक्सीजन प्रदान नहीं होती है। हीमोग्लोबिन की उपस्थिति के कारण ही रक्त का रंग लाल होता है।

श्वेत-रक्त कोशिकाएँ हमारे शरीर में क्या कार्य करती हैं?

रक्त में श्वेत-रक्त कोशिकाएँ भी होती हैं। ये कोशिकाएँ उन रोगाणुओं को नष्ट करती हैं जो हमारे शरीर में प्रवेश कर जाते हैं। कई बार खेलते समय गिर जाने से रक्त आने लगता है। कुछ समय बाद रक्त का बहना अपने आप रुक जाता है और कटने के स्थान पर गहरे लाल रंग का एक थक्का जम जाता है। श्वेत रक्त में एक अन्य प्रकार की कोशिकाओं की उपस्थिति के कारण हाता है, जिन्हें पटि्‌काणु (प्लैटलेट्‌स) कहते हैं।

स्पंदन दर किसे कहते हैं?

प्रति मिनट स्पंदनों की संख्या स्पंदन दर कहलाती है। विश्राम की अवस्था में किसी स्वस्थ व्यक्ति की स्पंदन दर सामान्यत: 72 से 80 प्रति मिनट होती है।

मानव शरीर में शिराएँ क्या काम करती हैं?

वे रक्त वाहिनियाँ, जो कार्बन डाइऑक्साइड समृद्ध रक्त को शरीर के सभी भागों से वापस हृदय में ले जाती हैं, शिराएँ कहलाती हैं। शिराओं की भित्तियाँ अपेक्षाकृत पतली होती हैं। शिराओं में इस तरह के वॉल्व होते हैं, जो रक्त को केवल हृदय की तरफ प्रवाहित होने देते हैं।

मनुष्यों में उत्सर्जन तंत्र के अंग कौन कौन से हैं?

उत्सर्जन तंत्र के अंग:

    1. वृक्क अथवा गुर्दे (एक जोड़ी)
    2. मूत्रवाहिनी (एक जोड़ी)
    3. मूत्राशय
    4. मूत्रमार्ग

शरीर के परिवहन में रक्त वाहिनियाँ

शरीर में विभिन्न प्रकार की रक्त वाहिनियाँ रक्त को शरीर में एक स्थान से दूसरे स्थान तक ले जाती हैं। अत: श्वसन के समय ऑक्सीजन को ताजा आपूर्ति फेफड़ों (फुफ्फुसो) को भर देती है। रक्त इस ऑक्सीजन का परिवहन शरीर के अन्य भागों में करता है। साथ ही रक्त कोशिकाओं से कार्बन डाइऑक्साइड सहित अन्य अपशिष्ट पदार्थों को ले जाता है। इस रक्त को वापस हृदय में लाया जाता है, जहाँ से यह फेफड़ों में जाता है। फेफड़ों से कार्बन डाइऑक्साइड बाहर निकाल दी जाती है। इस प्रकार शरीर में दो प्रकार की रक्त वाहिनियाँ पाई जाती हैं – धमनी और शिरा। धमनियाँ हृदय से ऑक्सीजन समृद्ध रक्त को शरीर के सभी भागों में ले जाती हैं। चूँकि रक्त प्रवाह तेजी से और अधिक दाब पर होता है, अत: धमनियों की भित्तियाँ (दीवार) मोटी और प्रत्यास्थ होती हैं।

हृदय की संरचना किस प्रकार की होती है?

हृदय वह अंग है, जो रक्त द्वारा पदार्थों के परिवहन के लिए पंप के रूप में कार्य करता है। यह बिना रुके धड़कता रहता है। हृदय वक्ष-गुहा में स्थित होता है, जिसका निचला सिरा बार्इं तरफ झुका रहता है। मानव का हृदय चार कक्षों में बँटा होता है। ऊपरी दो कक्ष अलिन्द कहलाते हैं और निचले दो कक्ष निलय कहलाते हैं। कक्षों के मध्य में एक दीवार होती है, जो ऑक्सीजन समृद्ध रक्त तथा कार्बन डाइऑक्साइड से समृद्ध रक्त को परस्पर मिलने नहीं देती है।

मनुष्यों में उत्सर्जन तंत्र

मनुष्यों में अनावश्यक पदार्थों जैसे पसीना, यूरिया, अपचित अपशिष्ट पदार्थ तथा जल के निष्कासन के लिए विभिन्न अंग होते हैं।

    • ठोस अपशिष्ट पदार्थ: अपचित भोजन आहार नाल के मलद्वार अथवा गुदा द्वारा बाहर निकाल दिया जाता है।
    • श्वसन अपशिष्ट पदार्थ: श्वसन अपशिष्ट पदार्थ जैसे कार्बन डाइऑक्साइड तथा जल, श्वास बाहर छोड़ते समय निष्कासित हो जाते हैं।
    • नमक, यूरिया, जल आदि: ये पदार्थ पसीने के रूप में त्वचा द्वारा निष्कासित कर दिए जाते हैं।
    • तरल अपशिष्ट पदार्थ: मूत्र का शरीर से निष्कासन, उत्सर्जन-तंत्र द्वारा होता है।
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